फूलपुर, प्रयागराज (राजेश सिंह)। जिले के फूलपुर तहसील के चंदौहा गांव निवासी सौरभ यादव ने एसडीएम फूलपुर को तहरीर देकर गांव के प्रधान पर आर्थिक व मानसिक शोषण का आरोप लगाया है। पीड़ित का कहना है कि गांव में पानी टंकी का निर्माण करने के लिए उसका नुकसान कर निर्माण की फिराक में प्रधान है। आरोप है कि चुनाव में वोट न देने पर उक्त प्रधान द्वारा पीड़ित को बरबाद करने की भी धमकी दी गई है। भुक्तभोगी की मानें तो जिस जमीन का मुकदमा न्यायालय में विचाराधीन है उस पर प्रधान द्वारा हस्तक्षेप किया जा रहा है।
पीड़ित सौरभ यादव ने एसडीएम फूलपुर को तहरीर देकर बताया कि सौरभ यादव पुत्र अमृतलाल यादव निवासी ग्राम चन्द्रौहा परगना झूंसी तहसील फूलपुर थाना सरायइनायत जनपद प्रयागराज का चकबन्दी के पूर्व से पूर्वजों के जमाने से आराजी संख्या 922 रकबा 0.234080 स्थित मौजा चंद्रौहा झूंसी तहसील फूलपुर जनपद प्रयागराज में मकान स्थित है, जो वर्तमान समय में नवीन परती के खाते में दर्ज है। जबकि जोत चकबन्दी आकार पत्र 41 व 45 के विशेष विवरण कालम में सामान्य आबादी दर्ज है, और आकार पत्र 45 के नक्शे में भी आबादी का चिन्ह बना हुआ है। पूरी भूमि आबादी से आच्छादित है। आपके न्यायालय में उपरोक्त अभिलेखों के आधार पर खतौनी पर नवीन परती के स्थान पर आबादी दर्ज किये जाने हेतु 32/36 राजस्व संहिता के तहत वाद भी योजित किया गया है, जो विचाराधीन है। पीड़ित का उक्त भूमि में शौचालय व उसका टैंक स्थित है। जिसके ऊपर टीनशेड भी लगा हुआ है। उक्त भूमि पर प्रधानी रंजिश के कारण ग्राम प्रधान द्वारा अवैधानिक ढंग से पानी की टंकी स्थापित की जा रही है जबकि इसके अलावा ग्राम में तमाम ग्राम सभा की भूमि स्थित है जो आकार पत्र 41-45 व 1359 में भी ग्राम सभा दर्ज है। परन्तु उस स्थान पर टंकी नही लगायी जा रही है, महज पीड़ित को नुकसान पहुंचाने की नियत से और उसका आर्थिक और मानसिक शोषण करने के लिए ग्राम प्रधान द्वारा रंजिशन उक्त कार्य किया जा रहा है। पीड़ित ने मुख्य राजस्व अधिकारी प्रयागराज के समक्ष भी एक प्रार्थना पत्र उक्त आशय का दिया है जिसको उन्होंने आपके अर्थात उपजिलाधिकारी फूलपुर के समक्ष जांच कर निष्पक्ष कार्यवाही करने हेतु प्रेषित किया है जिसे आप द्वारा तहसीलदार फूलपुर के समक्ष जांच करने के लिए पत्रांक संख्या 185 दिनांक 29.12.2023 ई० को भेज दिया गया है। परन्तु इसे नजरअंदाज करते हुए आज दिनांक 02.01.2024 ई० को आपसे सत्यता को छिपाते हुए अवैधानिक ढंग से हल्का लेखपाल की गलत आख्या के आधार पर उक्त आबादी की भूमि से अवैध कब्जा हटाये जाने का आदेश पारित करा लिया गया है। यदि ऐसा कर दिया गया तो पीड़ित व वहां पर अन्य लोग जो निवास करते हुए चले आ रहे हैं, उनकी बहुत बड़ी क्षति होगी। ऐसी दशा में जब तक मुख्य राजस्व अधिकारी प्रयागराज के आदेश की सम्पूर्ण जांच न हो जाये किसी प्रकार की कार्यवाही किया जाना न्यायोचित नहीं है। फिलहाल राजस्व का मामला है, उच्चाधिकारियों के द्वारा जांच पड़ताल के बाद ही सत्यता का पता चल पाएगा।