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हाईकोर्ट से निहारिका वेंचर्स को नहीं मिली राहत, चार सौ करोड़ गबन मामले में सुनवाई नौ जुलाई को

SV News

प्रयागराज (राजेश सिंह)। जमीन व शेयर में निवेश के नाम पर लोगो से 400 करोड़ की धोखाधड़ी के मामले में फरार चल रही निहारिका वेंचर्स के एमडी अभिषेक द्विवेदी की पत्नी निहारिका द्विवेदी को इलाहाबाद हाईकोर्ट से फिलहाल कोई राहत नहीं मिली। हालांकि, कोर्ट ने पुलिस से अब तक हुई विवेचना की प्रगति रिपोर्ट तलब करते हुए मामले की अगली सुनवाई के लिए आठ जुलाई की तारीख नियत की है। यह आदेश न्यायमूर्ति महेश चंद्र त्रिपाठी और न्यायमूर्ति सुरेंद्र सिंह प्रथम की खंडपीठ ने निहारिका की ओर से गिरफ्तारी पर रोक और एफआईआर को करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया है।
गौरतलब है कि हाल ही में सिविल लाइंस स्थित निहारिका वेंचर्स में निवेश करने के नाम पर 400 करोड़ रुपये की ठगी का मामला सामने आया था। यह कंपनी रियल एस्टेट और शेयर बाजार में लोगों को पांच से छह फीसदी मुनाफे का लालच देकर मोटी रकम निवेश करवाती थी। आरोप है कि पिछले दो महीने से कंपनी ने लोगों के पैसे रोक लिए। कंपनी में प्रयागराज, लखनऊ, कानपुर, वाराणसी समेत अन्य शहर के रहने वाले लोगों ने निवेश किया है।
सूत्रों के मुताबिक इस कंपनी ने अबतक लगभग 500 से ज्यादा लोगों को अपना शिकार बनाया है। निवेशक कौशल की तहरीर पर प्रयागराज के शिवकुटी थाने की पुलिस ने कंपनी के गोविंदपुर निवासी एमडी अभिषेक द्विवेदी उनकी पत्नी निहारिका और पिता ओमप्रकाश के खिलाफ शिवकुटी थाना में धोखाधड़ी की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है। 
शिकायतकर्ता निवेशकों की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अनिल तिवारी ने याचिका का कड़ा विरोध किया। कहा कि निहारिका वेंचर्स ने आम लोगो और वकीलों को अपना शिकार बनाया है। जमीन और शेयर में निवेश के नाम पर करीब 400 करोड़ रुपए की ठगी की है। ठगी से कमाए रुपयों के एमडी अभिषेक द्विवेदी ने अपनी पत्नी निहारिका द्विवेदी के नाम पर कई प्लॉट और फ्लैट खरीदें हैं। लेकिन निवेशकों का रुपए अब तक वापस नही किया। लोगों के तगादे से बचने के लिए सिविल लाइंस स्थित अपने कार्यालय को भी बंद कर दिया है। कोर्ट ने मामले की गंभीरता से को देखते हुए पुलिस से अब तक हुई विवेचना की प्रगति रिपोर्ट तलब करते हुए सुनवाई आठ जुलाई की तारीख नियत कर दी। 
शिवकुटी थाने में दर्ज धोखाधड़ी के हाईप्रोफाइल मामले में अब तक पुलिस ने अभिषेक के पिता ओम प्रकाश गिरफ्तार किया है, जबकि निहारिका वेंचर्स के एमडी अभिषेक द्विवेदी और उनकी पत्नी निहारिका की तलाश में पुलिस लगता संभावित स्थानों पर दबिश दे रही है। पुलिस सूत्रों की माने तो पुलिस ने पति पत्नी की लोकेशन ट्रेस कर ली थी। इसके बाद गिरफ्तारी से बचाव के लिए हाईकोर्ट पहुंची निहारिका को फौरी राहत नहीं मिलने से उसकी मुश्किल और बढ़ गई है। अब मामले की सुनवाई करीब 18 दिन बाद ही होगी। इस दौरान उन्हें दर दर भटकना ही होगा।
निवेशक कौशल सिंह समेत अन्य पीड़ितों की तहरीर पर प्रयागराज के शिवकुटी थाने की पुलिस ने गोविंदपुर निवासी एमडी अभिषेक द्विवेदी, उनकी पत्नी निहारिका और पिता ओमप्रकाश के खिलाफ धोखाधड़ी की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है। अब तक पुलिस ने अभिषेक के पिता ओम प्रकाश को गिरफ्तार किया है, जबकि अभिषेक और उनकी पत्नी निहारिका को पुलिस तलाश रही है। गिरफ्तारी से बचने के लिए निहारिका ने हाईकोर्ट ने याचिका दाखिल की है।
पुलिस को दी तहरीर में काैशल ने आरोप लगाया है कि सिविल लाइंस में निहारिका वेंचर्स नाम की कंपनी है। यह कंपनी रियल एस्टेट और शेयर बाजार में लोगों का पैसा निवेश करती है। लालच दिया जाता है कि हर महीने पांच से छह फीसदी मुनाफा दिया जाएगा। इसी लालच में फंसकर कौशल ने भी 35 लाख रुपये निवेश कर दिया। कौशल के मुताबिक उनके जैसे प्रयागराज में ही 200 से अधिक लोगों ने लाखों रुपये निवेश किए हैं। कंपनी ने अपना सिविल लाइंस स्थित ऑफिस बंद कर दिया है।
पुलिस पड़ताल में सामने आया है कि कंपनी की शुरुआत वर्ष 2020 में हुई थी। उस दाैरान कंपनी सिविल लाइंस स्थित हनुमान मंदिर के पास थी। लेकिन, तब वह ऑफिस किराये पर था। बाद में निहारिका वेंचर्स एंड डेवलपर्स ने अपना व्यावसायिक ऑफिस सिविल लाइंस स्थित लैंडमार्क में ले लिया था। छह महीने पहले ही यहां ऑफिस शिफ्ट किया गया था। लेकिन, जब पीड़ितों को पैसा नहीं मिला तो ऑफिस बंद होने के बारे में निवेशकों को जानकारी हुई।
गोविंदपुर में इनके अपने घर के अलावा अलकनंदा में तीन अपार्टमेंट हैं। सिविल लाइंस के सरोजनी अपार्टमेंट में एक फ्लैट, सिविल लाइंस के साईं लैंडमार्क में एक ऑफिस, नैनी स्थित रुद्रा आकृति में तीन फ्लैट, झूंसी के पारस नारायण में दो फ्लैट हैं। वहीं, लखनऊ में यमुना विहार काॅलोनी में एक घर है, जो निहारिका के नाम से है। इसके अलावा मिर्जापुर में एक प्लाट और नोएडा के वेब अपार्टमेंट में एक फ्लैट है। यह संपत्ति ओमप्रकाश, निहारिका, अभिषेक व उसके भाई के नाम पर है। पुलिस ने इन सभी संपत्तियों को लेकर रिपोर्ट तैयार की है।

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