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मीडिया ने महाकुंभ को दिलाई सफलता की ऊंचाई : सीएम योगी

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कुंभनगर (राजेश शुक्ल/राजेश सिंह)। सीएम योगी बोले कि मैं देख रहा था कि दिन हो या रात्रि, सुबह हो या शाम, शीत लहरी हो या भीषण धूप, लेकिन अनवरत रूप से कोई चल रहा था तो वह मीडिया था।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रयागराज दौरे पर बृहस्पतिवार को डिजिटल मीडिया सेंटर में मीडियाकर्मियों के साथ संवाद किया और महाकुम्भ को वैश्विक इवेंट बनाने में मीडिया की भूमिका की सराहना की। उन्होंने कहा कि वास्तव में महाकुम्भ प्रयागराज एक वैश्विक इवेंट बन गया। प्रधानमंत्री मोदी जी के विनज के अनुरूप यह कार्य करने में हमें जो सफलता प्राप्त हुई है उसे देश और दुनिया तक आपने पहुंचाया है, इसके लिए आपको हृदय से धन्यवाद करता हूं।

सीएम योगी बोले कि मैं देख रहा था कि दिन हो या रात्रि, सुबह हो या शाम, शीत लहरी हो या भीषण धूप, लेकिन अनवरत रूप से कोई चल रहा था तो वह मीडिया था। या तो मां गंगा की धारा चल रही थी या फिर मीडिया चलता था और सकारात्मक रूप से आपकी जो भूमिका थी उसके चलते महाकुम्भ प्रयागराज नए रिकॉर्ड बनाने के लिए अग्रसर हुआ। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री के समक्ष एक लघु फिल्म भी दिखाई गई, जिसके बोल थे महाकुम्भ एक याद बन गया...। इस फिल्म में महाकुम्भ की स्मृतियों को संजोया गया। 

योगी ने कहा कि आस्था और आर्थिकी का जो विजन प्रधानमंत्री ने दिया है वह यहां साकार होता दिखाई दिया। उत्तर प्रदेश में आध्यात्मिक टूरिज्म का भी ताकत है। यह प्रदेश ने साबित किया। गत वर्ष ही उत्तर प्रदेश में 65 करोड़ श्रद्धालु और पर्यटक विभिन्न तीर्थस्थलों पर आए थे। वे अयोध्या धाम आए थे, काशी आए थे, मथुरा-वृंदावन आए थे, प्रयागराज आए थे, चित्रकूट आए थे, मां विंध्यवासिनी के धाम आए थे, गोरखपुर आए, श्तीर्थ आए, नैमिषारण्य आए। अकेले प्रयागराज में 45 दिन में 66 करोड़ 30 लाख पर्यटक और श्रद्धालु आ चुके हैं। 

यानी नए-नए रिकॉर्ड बनते दिखाई दे रहे हैं। प्रयागराज महाकुंभ ने उत्तर प्रदेश के अंदर पांच स्पिरिचुअल टूरिज्म के डेस्टिनेशन उपलब्ध करवा दिए हैं। प्रयागराज से मिर्जापुर और काशी का एक, प्रयागराज से अयोध्या और गोरखपुर का दो, प्रयागराज से लालपुर, राजापुर, चित्रकूट का तीन, प्रयागराज से लखनऊ और नैमिषारण्य का चार और प्रयागराज से बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे व आगरा होते हुए मथुरा-वृंदावन का पांच।

इन पांचों तीर्थ में पिछले डेढ़ महीने से अधिक समय से लाखों की संख्या में श्रद्धालु मौजूद हैं। इन 45 दिनों में 100 देशों का प्रतिनिधित्व प्रयागराज में हुआ है, जिसमें 74 देशों के एंबेसडर और हाई कमिश्नर यहां आए थे, 12 देश के मंत्री या राष्ट्राध्यक्ष की उपस्थिति भी रही थी और अन्य देशों से श्रद्धालुजन भी इस कार्यक्रम का हिस्सा बने थे। यह सभी आपको कवर करने का अवसर प्राप्त हुआ था। 

जो भी प्रयागराज आया अभिभूत होकर गया

उन्होंने कहा कि महाकुंभ के पूरे आयोजन में सभी निर्माण कार्यों के लिए डबल इंजन की सरकार ने मिलकर लगभग 7.30 हजार करोड़ रुपया खर्च किया, जिसमें 200 से अधिक सड़कों का निर्माण, 14 फ्लाईओवर, नौ अंडरपास, 12 कॉरिडोर बनाए गए। पहली बार प्रयागराज में कुछ ऐसा देखने को मिला जो पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता था। अक्षय वट कॉरिडोर, मां सरस्वती कूप कॉरिडोर, पातालपुरी कॉरिडोर, बड़े हनुमान जी कॉरिडोर, महर्षि भारद्वाज कॉरिडोर, नागवासुकि कॉरिडोर, श्रंग्वेरपुर कॉरिडोर, द्वादश माधव कॉरिडोर समेत यह अलग-अलग प्रकार के 12 कॉरिडोर प्रयागराज में विकसित हुए हैं जो टूरिज्म के दृष्टि से हर एक श्रद्धालु को अपनी ओर आकर्षित करते हैं।

इस दौरान श्रद्धालुजनों की सुविधा के लिए प्रयागराज सिटी के अंदर हम लोगों ने लगभग एक लाख कार्मिकों को पूरी व्यवस्था से जोड़ा, जिन्होंने पूरे कार्यक्रम को सफलता की नई ऊंचाई तक पहुंचाया। सीएम योगी ने कहा कि 13 जनवरी पौष पूर्णिमा से 26 फरवरी महाशिवरात्रि तक चले इस महायज्ञ के दौरान प्रयागराज एक स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित हुआ है। आज जो भी प्रयागराज आएगा वह प्रयागराज को देखकर अभिभूत हो रहा है। यहां की सुविधाओं, यहां के मॉडल को देखकर लोग सेल्फी ले रहे हैं।

हर विभाग ने मिलकर आयोजन को बनाया सफल

उन्होंने महाकुंभ में तकनीक के उपयोग का उल्लेख करते हुए कहा कि पूरे मेला को फेस रिकॉग्निशन से जोड़ते हुए लगभग 3000 सीसीटीवी कैमरे के साथ एआई टूल से जोड़ा गया। इसके माध्यम से एक-एक व्यक्ति के आने की सूचना और उसके चेहरे की पहचान के साथ-साथ कितने लोगों ने डुबकी लगाई, उन सबकी काउंटिंग की व्यवस्था भी हो सकी। इसके माध्यम से लखनऊ में रहते हुए भी मैं यहां की गतिविधियों को 360 डिग्री तक देख पा रहा था। यहां 15000 से ऊपर स्वच्छताकर्मी तैनाथ थे।

इसके अलावा 7000 से अधिक परिवहन निगम की बसें थी 750 से अधिक शटल बसें थीं। उन्होंने बताया कि रेलवे ने लगभग 13000 मेला स्पेशल चला करके यात्रियों को सकुशल गंतव्य तक पहुंचाया। साढ़े तीन करोड़ यात्री केवल उत्तर प्रदेश परिवहन निगम की बसों से प्रयागराज आए। पीडब्ल्यूडी, नमामि गंगे, जल निगम, संस्कृति एवं पर्यटन विभाग, सिंचाई विभाग, स्वास्थ्य  समेत अन्य सभी विभागों ने पूरी तत्परता के साथ इस कार्यक्रम को सफलता की नई ऊंचाई तक पहुंचाने में योगदान दिया। 



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