मेजा,प्रयागराज।(हरिश्चंद्र त्रिपाठी)
शासन ने सर्पदंश को राज्य आपदा घोषित करते हुए सर्पदंश से मृत्यु की दशा में प्रत्येक मृतक के आश्रितों को 4 लाख रूपये की अहेतुक सहायता देने का निर्णय लिया गया है।बता दें कि शासन के संज्ञान में आया है कि सर्पदंश से मृत्यु को प्रमाणित करने के लिए मृतक की विसरा जांच हेतु फारेंसिक लैब भेजी जाती है और मृतक की विसरा जांच रिपोर्ट की प्रतीक्षा में मृतक के आश्रितों को अहेतुक सहायता समय से उपलब्ध नहीं करायी जाती है। फारेंसिक स्टेट लीगल सेल के अनुसार सर्पदंश के प्रकरणों में विसरा रिपोर्ट को प्रिजर्व करने का कोई औचित्य नहीं है तथा उनके द्वारा अवगत कराया गया है कि विसरा जाँच रिपोर्ट से सर्पदंश से मृत्यु प्रमाणित भी नहीं होता है। स्टेट मेडिको लीगल सेल के परामर्श के अनुसार सर्पदंश से मृत्यु की दशा में विसरा जांच रिपोर्ट की कोई प्रासंगिकता न होने के कारण सम्यक विचारोपरान्त सर्पदंश से मृतक के आश्रितों को अहेतुक सहायता उपलब्ध कराये जाने हेतु
मृतक का पंचनामा कराया जाय। मृतक का पोस्टमार्टम कराया जाना जरूरी है।
पोस्टमार्टम के पश्चात मृतक की विसरा रिपोर्ट प्रिजर्व करने की आवश्यकता नहीं है। सर्पदंश से मृत्यु की दशा में मृतक के आश्रितों को अधिकतम 7 दिन के अन्दर अहेतुक
सहायता उपलब्ध करायी जाय। सर्पदंश से मृत्यु के प्रकरणों में उपरोक्त प्रक्रिया का पालन करते हुए मृतक के आश्रितों को अहेतुक सहायता के रूप में शासन द्वारा 4 लाख रूपये देने का निर्णय लिया गया है।शासन के इस निर्णय को लोगों ने सरकार की सोच की सराहना की है।