शंकरगढ़, प्रयागराज (मंगला प्रसाद तिवारी)। शंकरगढ़ क्षेत्र में 1980 मेगावाट का बिजली उत्पादन के लिए पावर प्लांट लगाया गया था। और किसानों की जमीन का अधिग्रहण इस शर्त पर किया गया था कि जिनकी जमीन जा रही है उनके परिवार के सदस्यों को जीवन यापन के लिए योग्यता के अनुसार रोजगार दिया जाएगा तथा क्षेत्र के लोगों को बिजली 24 घंटे बिजली की व्यवस्था की जाएगी। प्रयागराज पावर प्लांट जेपी ग्रुप द्वारा बनकर तैयार हो गया और कुछ ही सालों में उसे टाटा कंपनी ने खरीद लिया। लेकिन क्षेत्र के किसानों एवं लोगों को दिए गए वादे पूरे करने में असफल रही। जिन किसानों के सदस्यों को नौकरी दी गई उन्हें भी किसी न किसी बहाने आरोप लगा कर के कंपनी से बाहर कर दिया जा रहा है। अपनी मांगों को लेकर आज कंपनी से निकाले गए कर्मचारियों ने उप जिलाधिकारी बारा के सामने अपनी समस्याओं से अवगत कराने के लिए तहसील का घेराव किया। तथा अपना विरोध प्रदर्शन जताते हुए प्रयागराज पावर प्लांट के सामने धरने पर बैठ गए ज़ब तक उनकी नौकरी को बहाल नहीं किया जाता तब तक धरने पर बैठे रहेंगे। किसानों की मदद के लिए भारतीय किसान यूनियन के सदस्य के के मिश्रा राकेश त्रिपाठी आशीष राज त्रिपाठी ने भी धरने का समर्थन करते हुए उन्हें न्याय दिलाने का भरोसा दिया।