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प्रयागराज: एसआरएन के पीएम हाउस में डॉक्टर की दबंगई, दरोगा व आम जनता से गाली-गलौज का विडियो वायरल

SV News

अभद्रता एवं गाली-गलौज का विडियो वायरल, चीफ फार्मासिस्ट ने अधिकारी को लिखा पत्र


प्रयागराज (राजेश सिंह)।
प्रयागराज के एसआरएन के पोस्टमार्टम हाउस में एक डाक्टर की दबंगई एवं अराजकता सामने आई है। डाक्टर के द्वारा आम जनता व पुलिस कर्मियों से अभद्रता का विडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। वहीं एसआरएन के चीफ फार्मासिस्ट दीपनारायण सिंह व फार्मासिस्ट रणविजय सिंह ने मुख्य चिकित्साधिकारी प्रयागराज व हेड आफ डिपार्टमेंट फारेंसिक मेडिसिन मोती लाल नेहरू व मोती लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज के प्रधानाचार्य को पत्र भेजकर कार्रवाई की मांग की है। वहीं पुलिसकर्मियों व आम जनता से गाली-गलौज व अभद्रता का हाईवोल्टेज ड्रामे का विडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

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स्वरूपरानी चिकित्सालय पोस्टमार्टम हाउस में डॉक्टर का आए दिन किसी न किसी इंसान से झगड़ा एवं गाली-गलौज करता रहता है। वहीं रविवार को सुबह से पोस्टमार्टम हाउस में ताला लगा कर कर्मचारियों और डॉक्टरों को गाली बक रहा था। कर्मचारियों और डॉक्टरों ने गाली देने एवं अभद्रता की शिकायत एसआरएन पुलिस चौकी में की। चौकी प्रभारी के साथ मौके पर पहुंची पुलिस के साथ भी उक्त डाक्टर ने अभद्रता की एवं गाली देते हुए देख लेने की बात कही। आखिर उक्त डाक्टर की दबंगई कब तक चलेगी। अब देखना यह है कि संबंधित जिम्मेदार अभद्रता एवं अराजकता फैलाने वाले डाक्टर के खिलाफ कब एक्शन लेते हैं।


चीफ फार्मासिस्ट दीपनारायण सिंह ने 10 मई को संबंधित अधिकारियों को पत्र लिखकर बताया कि प्रयागराज में फारेन्सिक मेडिसिन जेआर-III डॉ आशीष कुमार सिंह आते हैं। इनके द्वारा पोस्टमार्टम हाउस में आये दिन अभद्रता, गाली-गलौज, धमकाना, आने वाले सिपाहियों व परिजनों से भी अभद्रता करना जिससे मारपीट जैसी स्थिति उत्पन्न हो जा रही है। शिकायत मिलने पर किसी तरह समझा-बुझाकर लोगों को शान्त कराया जाता है। वहीं 9 मई को पोस्टमार्टम करने आये हुए डॉक्टर शमी अहमद चिकित्साधिकारी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बिगहिया की गाड़ी देखने के बहाने गाड़ी के अन्दर रखे हुए पर्स से दो हजार रूपये निकाल लेना। जब डॉक्टर अहमद पोस्टमार्टम कार्य कर चुके और घर जाने लगे, तब डाक्टर के द्वारा देखा गया कि गाड़ी के अन्दर रखे हुए पर्स से दो हजार रूपये गायब हैं। तदोपरान्त डॉक्टर आशीष कुमार सिंह को फोन कर बुलाया गया और जानकारी ली गयी। तब डॉक्टर आशीष कुमार सिंह के द्वारा अभद्र भाषा का प्रयोग किया जाने लगा। साथ ही पोस्ट मार्टम हाउस के कर्मचारियों को जाति सूचक शब्दों के साथ गाली-गलौज की वजह क्या है। जब उक्त अराजकता की शिकायत की बात कही गई, तब इनके द्वारा कबूल किया गया कि, वह दो हजार रूपये निकाले हैं और फिर डाक्टर आशीष सिंह के द्वारा वापस किया गया। इस तरह की परिस्थितियों को देखते हुए इनके द्वारा कभी भी कोई अप्रिय घटना की जा सकती है। वहीं अन्य डाक्टरों ने संबंधित जिम्मेदारों से अभद्रता एवं गाली-गलौज का आरोप लगाते हुए डॉक्टर आशीष कुमार सिंह की जगह किसी अन्य जेआर-III को पोस्टमार्टम हाउस में नामित करने की की मांग की है। डॉक्टर सिंह को पोस्टमार्टम हाउस न भेजा जाय। जिससे किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके। अगर डाक्टर आशीष कुमार सिंह जेआर-111 फारेन्सिक मेडिसिन पोस्टमार्टम हाउस में आते हैं, और किसी भी तरह की वाद-विवाद की स्थिति या कोई अप्रिय घटना घट जाती है।

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