वाराणसी (राजेश शुक्ला) । रविवार सुबह वाराणसी में गंगा का जलस्तर 10 सेमी. प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा है, जो शनिवार को तीन से पांच सेमी. प्रतिघंटा था। घाटों का संपर्क पहले ही टूट चुका है। हरिश्चंद्र और मणिकर्णिका घाट के रैंप पर पानी चढ़ने के कारण शवदाह के लिए आने वाले लोगों को लंबा इंतजार करना पड़ रहा है।
गंगा के जलस्तर में बढ़ाव का सिलसिला अनवरत जारी है। रविवार सुबह वाराणसी में गंगा का जलस्तर 10 सेमी. प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा है, जो शनिवार को तीन से पांच सेमी. प्रतिघंटा था। इससे यह आशंका है कि जल्द ही गंगा का जलस्तर खतरे के निशान (70 मीटर) को छू सकता है। इधर, गंगा में उफान के कारण तटवर्ती इलाकों में रहने वालों की धुकधुकी बढ़ गई है।
एनडीआरएफ टीम के साथ ही पुलिस-प्रशासन भी चौकस है। घाटों का संपर्क पहले ही टूट चुका है। हरिश्चंद्र और मणिकर्णिका घाट के रैंप पर पानी चढ़ने के कारण शवदाह के लिए आने वाले लोगों को लंबा इंतजार करना पड़ रहा है। जलस्तर बढ़ने के कारण गंगा में शनिवार दोपहर से नौका संचालन पूरी तरह से प्रतिबंधित कर दिया गया है।
गंगा के पानी में इतनी तेजी से कभी उतार चढ़ाव नहीं देखा
केंद्रीय जल आयोग की बाढ़ बुलेटिन के अनुसार रविवार सुबह गंगा का जलस्तर 66.72 मीटर दर्ज किया गया। जलस्तर में 10 सेंटीमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से बढ़ाव का सिलसिला बना है। तटवर्ती इलाकों में रहने वाले लोगों ने बयाया कि इससे पहले गंगा के पानी में इतनी तेजी से कभी उतार चढ़ाव नहीं देखा था। वाराणसी में गंगा का चेतावनी बिंदु 70.262 मीटर है तो खतरा बिंदु 71.262 मीटर पर है।
वरुणा में पलट प्रवाह का खतरा
पहाड़ों पर लगातार हो रही बरसात के बीच गंगा का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। गंगा के बढ़ते जलस्तर की वजह से मैदानी इलाकों में चिंता बढ़ने लगी है। प्रयागराज सहित गंगा से लगे जिलों में गंगा का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। इसकी वजह से माना जा रहा है कि लगातार बढ़ता जलस्तर आगे भी जारी रहा तो बाढ़ जल्द आ जाएगी। वहीं दूसरी ओर गंगा में पलट प्रवाह से वरुणा में भी बाढ़ की आशंका है। बाढ़ की वजह से आने वाले दिनों में तटवर्ती इलाकों में पलायन की स्थिति आ सकती है।