हर तरफ गंगा मइया के जयकारे की गूंज
प्रयागराज (राजेश सिंह)। गंगा, यमुना व अदृश्य सरस्वती की मिलन स्थली संगम में संतों व श्रद्धालुओं का जुटान है। भीषण कोहरा और ठंड होने के बावजूद रेती पर बसी तंबुओं की नगरी में गुरुवार की भोर से भजन-कीर्तन की कर्णप्रिय गूंज, गंगा मइया के जयकारे की गूंज होने लगी है।
माघ मेला के द्वितीय स्नान पर्व पौष पूर्णिमा स्नान पर्व पर संगम के पवित्र जल में डुबकी लगाने के लिए भक्तिभाव से ओतप्रोत बच्चे, युवा व बुजुर्गों की भीड़ जुटी है। भोर के साथ ही स्नान का क्रम आरंभ हो गया। गुरु-पुष्य और अमृत योग का संयोग बनने से लोगों में श्रद्धा का भाव अधिक है। इसके साथ संगम क्षेत्र में कल्पवास का आरंभ हो गया। गृहस्थ मेला क्षेत्र स्थित दंडी स्वामीनगर, आचार्य नगर, खाकचौक में संतों और तीर्थपुरोहितो के शिविर में आसरा लेकर जप तप आरंभ कर दिया है। कल्पवास माघी पूर्णिमा (25 फरवरी) तक चलेगा।
सुरक्षा के किए गए व्यापक बंदोबस्त
डीआईजी राजीव नारायण मिश्र ने बताया, "पौष पूर्णिमा का पर्व है और माघ मेला भी शुरू हो गया है। श्रद्धालु पावन स्नान कर रहे हैं। सुरक्षा के व्यापक बंदोबस्त की व्यवस्था की गई है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, जल पुलिस द्वारा निगरानी की जा रही है। सीसीटीवी के माध्यम से निगरानी की जा रही है। आवश्यकता के अनुसार ड्रोन का इस्तेमाल भी किया जाएगा। महिला पुलिसकर्मियों की भी तैनाती की गई है।"