नई दिल्ली। भारत ने रूस के साथ एंटी-शिप क्रूज मिसाइलों की खरीद के लिए समझौता किया, जिससे भारतीय नौसेना की पनडुब्बी बेड़े की युद्धक क्षमता में वृद्धि होगी। यह समझौता रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह की मौजूदगी में हुआ।
भारत ने मंगवार को एंटी-शिप क्रूज मिसाइलों की खरीद के लिए रूस के साथ एक महत्वपूर्ण समझौते पर हस्ताक्षर किए। इस कदम से भारतीय नौसेना की पनडुब्बी बेड़े की युद्धक क्षमताओं में महत्वपूर्ण वृद्धि होगी। रक्षा मंत्रालय ने इस संबंध में जानकारी दी। मंत्रालय ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में बताया कि आज रक्षा मंत्रालय ने रूस के साथ एंटी-शिप क्रूजत मिसाइल की खरीद के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए। इन मिसाइलों से भारतीय नौसेना की पनडुब्बी बेड़े की युद्धक क्षमता में महत्वपूर्ण वृद्धि होगी। समझौता रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह की मौजूदगी में किया गया।
2030 तक भारत-रूस व्यापार 100 अरब डॉलर का होगा
रूसी संसद के निचले सदन स्टेट ड्यूमा के अध्यक्ष व्याचेस्लाव वोलोडिन ने कहा कि भारत और उनके देश के बीच द्विपक्षीय व्यापार 2030 तक 100 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा। एक आधिकारिक बयान के मुताबिक, वोलोडिन ने महाराष्ट्र के राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन से मुलाकात की। राजभवन में बैठक के दौरान वोलोडिन के साथ रूसी सांसदों का एक प्रतिनिधिमंडल भी मौजूद था। वोलोडिन ने राज्य और क्षेत्रीय स्तर पर संसदीय संस्थानों के साथ सहयोग विकसित करने की जरूरत पर बल दिया। उन्होंने उम्मीद जताई कि भारत और रूस के बीच द्विपक्षीय व्यापार 2030 तक 100 अरब डॉलर पर पहुंच जाएगा।