प्रयागराज (राजेश सिंह)। उमेश पाल हत्याकांड के बाद अतीक अहमद गैंग की संपत्तियों का पता लगाने के लिए चल रहे आपरेशन जिराफ और आपरेशन आक्टोपस के तहत करीबियों पर कानूनी शिकंजा कसा जा रहा है। शुक्रवार को टास्क फोर्स ने पूर्व विधायक परवेज टंकी से अतीक गिरोह से रिश्ते के बारे में पूछताछ की। टंकी से चार घंटे से ज्यादा समय तक सवाल-जवाब किए।
टंकी से अतीक अहमद की नामी और बेनामी संपत्तियों के अलावा करीबी लोगों से रिश्ते के बारे में भी पूछताछ होती रही। खुल्दाबाद थाने के सामने स्थित पेट्रोल पंप के मालिक परवेज अहमद उर्फ परवेज टंकी शहर दक्षिणी से 2012 से 2017 तक सपा विधायक रहे। पुलिस का कहना है कि 1990 के दशक में अतीक के करीब आए परवेज टंकी की उनसे नजदीकी बढ़ती गई। वर्ष 2002 में अपना दल के प्रदेश अध्यक्ष रहे अतीक अहमद ने परवेज टंकी को प्रतापपुर सीट से विधानसभा चुनाव में उतारा था।
चुनाव में परवेज को हार झेलनी पड़ी थी। 2004 में खुल्दाबाद बाल गृह के अधीक्षक ने परवेज टंकी, उनके दो भाइयों समेत परिवारी जनों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराया था। तभी खुल्दाबाद पुलिस ने परवेज और एक भाई का नाम अतीक अहमद के गैंग चार्ट में जोडा था। हाल ही में आपरेशन जिराफ और आक्टोपस के तहत पुलिस ने अतीक के करीबियों पर शिकंजा कसना शुरू किया तो कई नाम सामने आए।
कारोबारी इम्तियाज चावल और अब्बास सहित कई को उठाया गया।शुक्रवार को अतीक के पुराने साथी परवेज टंकी को बुला लिया। टास्क फोर्स ने परवेज टंकी से अतीक से उनके रिश्ते, कारोबार, जमीन के सौदों के बारे में सवाल-जवाब किए। परवेज से पूछा गया कि वह अतीक की किन संपत्तियों के बारे में जानते हैं। कैसे अतीक जमीन के सौदे करता था, कौन-कौन बिल्डर उसके सहयोगी रहे हैं। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि परवेज के बयान का सत्यापन किया जा रहा है।
नफीस बिरयानी ने अली को भी दी थी क्रेटा कार उमेश पाल हत्याकांड में पुलिस मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार नफीस बिरयानी से पूछताछ में तमाम जानकारी सामने आई है। शुक्रवार को पुलिस ने अटाला से उसके सीए नफीस को बुलाकर कई घंटे तक पूछताछ की। सीए ने कहा कि नफीस 45 से 50 लाख रुपये का इनकम टैक्स रिटर्न भरता था। हालांकि पुलिस का मानना है कि ईट आन बिरयानी से इतनी कमाई तो उसकी एक महीने में हो रही थी। पुलिस बैंक स्टेटमेंट को खंगाल रही है।
नफीस बिरयानी ने पुलिस को यह भी बताया है कि उमेश पाल हत्याकांड में इस्तेमाल क्रेटा कार उसने अतीक के बेटे असद को दी थी।इससे पहले अतीक के दूसरे बेटे अली को 4717 नंबर की क्रेटा कार दी थी। यह कार नफीस ने दूसरे नाम से खरीदी थी। यह कार पुलिस के कब्जे में आ गई है। उसने अतीक की पत्नी शाइस्ता को फारच्यूनर दी थी। नफीस अतीक का इतना करीबी था कि वह उसके परिवार के संदेश लेकर अतीक से मिलने साबरमती जेल जाता था।नफीस के लिए जमीन के सौदे समेत दूसरे काम करने वाले कई करीबी पुलिस के रडार पर हैं।
कई महीने तक फरारी काटने के बाद नफीस बिरयानी को पुलिस टीम ने बुधवार रात नवाबगंज इलाके में मुठभेड़ के दौरान गिरफ्तार किया था। तब से वह एसआरएन अस्पताल में पुलिस पहरे में भर्ती है। उसके खिलाफ पुलिस पर जानलेवा हमले और फर्जी आधार कार्ड रखने का मुकदमा भी लिखा गया है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि शनिवार दोपहर उसकी मजिस्ट्रेट के समक्ष पेशी कराई जा सकती है। डाक्टर की रिपोर्ट के आधार पर उसे पेश कराया जाएगा। बाद में उसे कस्टडी रिमांड पर लिया जाएगा।