घंटो मशक्कत के बाद आग पर मिला काबू, लोगों ने ली राहत की सांस
प्रयागराज (राजेश सिंह)। शुक्रवार का दिन बारा तहसील के किसानों के लिए आफत बन कर आया। दोपहर में आग लगी की घटना से एक साथ तीन गांवों के किसानों की फसल खाक हो गई। तहसीलदार बारा की सूझबूझ से गांव को बचा लिया गया किन्तु किसानों की फसल जल कर खाक हो गई।
बारा थाना क्षेत्र के हर्रो गांव के किसी किसान ने अपने खेत की गेहूं की फसल को हार्वेस्टर से कटवा लिया था। शुक्रवार को दोपहर में उसमें आग लगा दी। हवा तेज होने के चलते आग इतनी भयावह हो गई कि डांड़ो होते हुए कौंधियारा थाना क्षेत्र के ग्राम पंचायत मझियारी के मजरा बघोलवा तक पहुंच गई। इस दौरान हर्रो,डांड़ो और बघोलवा के बीच लगभग 50 बीघा गेहूं जल कर राख हो गया।आग की लपट देखते ही ग्रामीण सहम गए और खेतों की ओर दौड़े किंतु बिजली कटी होने के कारण किसान पानी की मोटर भी नहीं चला पाए।
शुरू में अग्नि शमन की छोटी गाड़ी मौके पर पहुंची किंतु उसमें पानी पर्याप्त नहीं था। किसानों ने इसकी जानकारी विधायक बारा को दिया। विधायक बारा डाक्टर वाचस्पति द्वारा विभागीय अधिकारियों को जानकारी दी गई। इस बीच तहसीलदार बारा, कौंधियारा, बारा, शंकरगढ़ की पुलिस टीम और अग्निशमन विभाग से बड़ी गाड़ी मौके पर पहुंची। प्रशासन और ग्रामीणों ने अथक परिश्रम कर आग पर काबू पाया।
बारा क्षेत्र के डांड़ो गांव में लगी आग ने इतना भयावह रूप ले लिया था कि उसकी लपटें गांव की ओर बढ़ने लगी थी। इस समय तहसीलदार बारा गणेश सिंह ने खेत के बजाय गांव की ओर बढ़ रही आग को पहले बुझाने का निर्देश दिया। तहसीलदार बारा ने बताया कि यदि गांव की ओर बढ़ रही आग पर काबू न पाया गया होता तो बड़ी घटना घट सकती थी।
केवल फसल का नुक़सान हुआ है। बारा के हर्रो,डांड़ो और बघोलवा में लगी आग से दर्जनों किसान प्रभावित हुए हैं। प्रभावित किसानों में मेवा लाल पटेल,शंकर सिंह, सुधाकर सिंह, मीत बहादुर पटेल, रामभवन सिंह, ननकु यादव, संतोष सिंह आदि किसानों ने प्रशासन से फसल नुकसान के भारपाई की मांग की है। मामले में तहसीलदार बारा गणेश सिंह ने बताया की नुकसान का आकलन राजस्व विभाग की टीम कर रही है। रिपोर्ट मिलने के बाद शासन को भेजी जाएगी।